Prelims का आयरन गेट क्यों नहीं तोड़ पा रहे UPSC Aspirants


जब से 2023 की यूपीएससी प्री की परीक्षा हुई है, छात्रों के होश उड़े हुए हैं। ऐसे कई स्टूडेंट्स हैं जो यदि सीधे मेंस की परीक्षा में बैठें तो शायद उनका Selection पक्का हो जाएगा लेकिन फिर भी प्री की दीवार तोड़ पाना उनके लिए मानों हिमालय पर्वत चढ़ने से भी मुश्किल काम हो। अब देखा जाए तो प्री की परीक्षा Objective होने के कारण आसान होनी चाहिए लेकिन फिर भी 90 प्रतिशत स्टूडेंट्स ऐसे हैं जिन्हें सबसे ज्यादा डर प्री से ही लगता है। आखिर ऐसा क्या है प्री की परीक्षा में की अच्छे - अच्छे स्टूडेंट्स भी इसका नाम सुनते ही घबड़ा जाते हैं और कैसे आप इस लौह द्वार को पार कर सकते हैं?


प्रत्येक वर्ष 5 लाख उम्मीदवारों में से करीब सिर्फ 15000 उम्मीदवार ही आईएएस प्रिलिम्स की परीक्षा में सफल हो पाते हैं, यह कुल छात्रों का 3% भी नहीं है। लेकिन एक सच ये भी है कि ज्यादातर उम्मीदवार मामूली अंतर से अंतिम सूची में आने से रह जाते हैं। इससे पता चलता है कि सफल होने वाले असफल रह जाने वाले स्टूडेंट्स की पढ़ाई और आईक्यू में बहुत ज्यादा अंतर नहीं है। तो आखिर वो क्या कारण हैं जो स्टूडेंट्स को प्री से आगे बढ्ने से रोकते हैं?


प्रिलिम्स के महत्व को कम आंकना – आपने अक्सर यह सुना होगा की यूपीएससी की तैयारी मेंस से प्री तक होनी चाहिए। यानि आपको अप्पणी तैयारी मेंस को ध्यान में रख कर शुरू करनी चाहिए और Gradually प्री तक पहुंचाना चाहिए। और Maximum Students यहीं गलती कर देते हैं। वे प्री के महत्व को इतना कम कर देते हैं कि वे यह भी भूल जाते हैं कि प्री का pattern मेंस से बिलकुल अलग है और इसलिए इसकी तैयारी भी उतनी ही Seriously लेना चाहिए क्योंकि  यदि आप आईएएस प्रिलिम्स में विफल हो जाएंगे तो इस अवसर तक पहुंच ही नहीं पाएंगे। इसीलिए आपको प्री की तैयारी भी मेंस के साथ ही करनी चाहिए और परीक्षा से छह महीने पाहले से तो सिर्फ प्री पर ही फोकस करना चाहिए।


बेतुके स्टडी मटेरियल – आईएएस की तैयारी करने का मतलब ढेर सारी किताबें पढ़ना नहीं होता बल्कि इसके लिए जरूरी है कि आप जो भी पढ़ें उसे बार - बार पढ़ें और doubts का कोई स्कोप ही ना छोड़ें। अब मान लीजिये आपको polity पढ़ना है तो सबसे पहले आप लक्ष्मीकान्त की किताब पढ़िये। जब आप इसे पूरी तरह से पढ़ कर समझ चुके हों आपको उसके बाद ही दूसरी किताब उठाना चाहिए।


परीक्षा के दौरान समय प्रबंधन का अभाव -आपको एक बार प्रश्न पत्र पढ़ने के लिए जितना समय चाहिए उसका एक लक्षित समय निर्धारित करें और जिन प्रश्नों के उत्तर के लिए आप 110% निश्चित हैं, उन्हें तुरंत अंकित कर लीजिए। hall में जाने के बाद सबसे पहले अपने मन को शांत करने और सबसे पहले question पेपर पूरा पढ़ें। फिर उन सवालों को मार्क कर लें जिनके जवाब आपको पूरी तरह पता हैं और सबसे पहले उन्हें ही हल करें। और हाँ omr शीट भरने का भी पूरा ध्यान रखें। बेहतर यही होगा कि आप 15 – 20 सवालों को हल करने के बाद उनके जवाब ओमर शीट में भर लें।


टेस्ट सीरीज का अभ्यास नहीं करना - यदि आपने एक भी टेस्ट नहीं दिया है और सोच रहे हैं कि वास्तविक परीक्षा में आप बहुत अच्छा प्रदर्शन करेंगे तो आप भ्रम में जी रहे हैं। परीक्षाओं से अधिक आप परीक्षा में कैसी प्रतिक्रिया करेंगे, इसे पहचानने की जरूरत है। कभी– कभी नियमित टेस्ट देना अलग– अलग स्टडी मटेरियल्स को पढ़ने से अधिक महत्वपूर्ण होता है क्योंकि मटेरियल्स हमेशा अनंत होते हैं लेकिन आपका प्रश्न पत्र सिमित होता है। इसलिए आपको निश्चित समय में निश्चित संख्या में प्रश्नों में महारत हासिल करने के लिए अभ्यास करने की जरूरत है।


उम्मीद है कि अब आप समझ गए होंगे कि आईएएस परीक्षा में कैसे सफल हों, इस पर किसी के भी किसी भी निष्कर्ष पर पहुंचने से पहले परीक्षा के पहले चरण यानि प्रिलिम्स परीक्षा में सफल होने के ट्रिक्स को डिकोड करना कितना महत्वपूर्ण है।