UPSC Prelims में GS के डर को कैसे दूर करें ?
शोले फिल्म आप सब ने देखी होगी। उसका एक संवाद आज भी हम लोगों की जुबान पर अक्सर आ जाता है – जो डर गया समझो मर गया। यानि जब हम कुछ करना चाहते हैं, कुछ पाना चाहते हैं तो सबसे पहले हमें अपने अंदर के डर पर विजय करना जरूरी है। यूपीएससी की तैयारी करने वाले अधिकांश students सिर्फ इसलिए सफल नहो हो पाते क्योंकि वे जीएस का नाम सुन कर ही डर जाते हैं और या तो पीछे हट जाते हैं या फिर असफलता की आशंका में preparation करते रहते हैं। क्या आप भी यूपीएससी की तैयारी कर रहे हैं या करना चाहते हैं लेकिन जीएस का नाम सुन कर ही आपके हाथ पाँव फूल जाते हैं। तो चिंता मत कीजिये और इस वीडियो को पूरा देखिये।
दोस्तों, डर को दूर करने के लिए डर को समझना बहुत जरूरी है। किसी संभावित अनिष्ट की आशंका जिसे रोका या नियंत्रित नहीं किया जा सकता उसे ही डर कहते है। अब जैसे आप यूपीएससी की तैयारी कर तो रहे हैं लेकिन परिणाम क्या होगा यह ना आप जानते हैं और ना ही उसे नियंत्रित कर सकते हैं और अनिश्चितता की यही स्थिति आपका डर है। जीएस से स्टूडेंट्स के डरने का एक कारण और भी है और वह है जीएस का सिलैबस और इस डर के कारण वे पहाड़ सा सिलैबस तो देख लेते हैं लेकिन उस पहाड़ को पार करने के लिए बने रास्तों को नहीं देख पाते।
तो अब आते हैं अपने मूल सवाल पर यानि डर को दूर कैसे करें। दोस्तों, गीता में भगवान श्री कृष्ण ने कहा है कि कर्म किए जा फल की चिंता मत कर। यानि जो आपके हाथ में है ही नहीं उसे लेकर आशंका क्यों रखना। क्यों बार बार यह सोचना कि यदि मैं सफल नहीं हुआ तो क्या होगा, यदि आपने कर्म किया है तो सफलता जरूर मिलेगी और यदि आपको अपेक्षित सफलता नहीं भी मिलती है तो भी आपका वह कर्म आपको कोई ना कोई फल जरूर देगा। लेकिन यदि आप ऐसा नहीं करते हैं तो लगातार परिणाम को लेकर चिंतित रहते हैं तो धीरे धीरे यह आपके मन में इतनी शंका भर देगा कि आप अपनी क्षमता और मेहनत पर भी भरोसा नहीं कर सकेंगे और फिर आप कर्म करने लायक ही नहीं रहेंगे और जब कर्म ही नहीं करेंगे तो फल की अपेक्षा भी नहीं कर सकते हैं। इसलिए आज से ही अपने मन में पल रही हर शंका को निकाल फेंकिए और अपने आप से यह कहिए कि आप मेहनत कर सकते हैं, आप मेहनत करेंगे और एक न एक दिन आपकी मेहनत रंग जरूर लाएगी।
अब आते हैं दूसरे किस्म के डर पर यानि पहाड़ जैसे syllabus का डर। इसमे कोई दो राय नहीं है कि यूपीएससी का सिलैबस अन्य किसी भी परीक्षा की तुलना में काफी बड़ा है। लेकिन यह भी सच है कि यह इतना भी बड़ा नहीं है जिसे पूरा किया ही ना जा सके। दोस्तों, दुनिया की कोई भी चुनौती इंसान के हौसले से बड़ी नहीं होती। इसलिए अपने मन से किसी भी प्रकार की झिझक या तनाव को बाहर निकाल फेंकिए और किसी कुशल योद्धा की तरह अपनी चुनौती को पार कीजिये। अब आप सोच रहेंगे कि यह कैसे होगा? इसका जवाब दो शब्दों में छुपा है – रणनीति और समय प्रबंधन।
दोस्तों, यूपीएससी में जीएस के सिलैबस को पूरा करने के लिए आपको एक सही रणनीति बनानी पड़ेगी वरना आप इसके चक्रव्यूह में फंस सकते हैं। इसके लिए आपको divide and conquer के सिद्धान्त का पालन करना चाहिए। सिलैबस को छोटे छोटे parts में divide कीजिये और एक एक कर उन छोटे parts को कवर कीजिये। जब आप छोटे छोटे लक्ष्य बनाकर उन्हें पूरा करने लगेंगे तो आपका बड़ा लक्ष्य खुद ही हासिल हो जाएगा और आपके ऊपर कोई extra stress भी नहीं आयेगा।
दूसरा पक्ष है टाइम management इसके लिए आपको अपने 24 घंटों को कुछ इस तरह बांटना पड़ेगा जिससे आप पढ़ाई के लिए ना सिर्फ मैक्सिमम टाइम निकाल सकें बल्कि आपके पास recreation और refreshment के लिए भी समय हो। सिर्फ पढ़ाई करते रहने से दिमाग बोझिल हो जाता है और उसके बाद चाहे जितना किताबें देख लो, कुछ फायदा नहीं होता। लेकिन यदि आप सेशन्स के बीच में छोटे छोटे breaks लेते रहेंगे तो आपका दिमाग ज्यादा से ज्यादा grasp कर सकेगा।